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शासन की योजनाओं का लाभ ज्यादा से ज्यादा आम जनता तक पहुंचे, इस पर ज्यादा फोकस करता हूं- लोकेश चंद्राकर

 

भिलाई (सारनाथ एक्सप्रेस)। मेरे मन में शुरू से ही आम लोगों के लिए काम करने की इच्छा थी, जब मैं एमबीए करने के लिए इंदौर गया, तब वहा प्रशासनिक अधिकारियों का लोगो का काम करते देखा और यह सोचा की प्राइवेट सेक्टर में जाकर मैं लोगो की सेवा उतना नही कर पाऊंगा जितना की शासकीय सेक्टर में जाकर कर पाऊंगा उसी दौरान इंदौर में बहुत से लोग पीएससी की तैयारी कर रहे थे, उनसे मैंने मार्गदर्शन लिया। शासकीय कार्य में जाने का लक्ष्य बना कर तैयारी शुरू किया। यह सब बाते नगर पालिक निगम भिलाई के आयुक्त लोकेश कुमार चंद्राकर ने सारनाथ एक्सप्रेस से विशेष बातचीत में कही। इन्होंने अपने अब तक के सफर को हमसे साझा किया…

आयुक्त लोकेश चंद्राकर का जन्म ग्राम बेमचा जिला महासमुंद में हुआ था, इनकी प्रारंभिक शिक्षा से लेकर हायर सेकेण्डरी तक की शिक्षा नवोदय विद्यालय, माना- रायपुर से पूरी हुई। इन्होंने शासकीय कॉलेज, महासमुंद से विज्ञान में स्नातक और इकोनॉमिक्स में स्नातकोत्तर की डिग्री हासिल किया। एमबीए की पढ़ाई के लिए वर्ष 1997 में ये इंदौर चले गए। एमबीए करने के बाद यह वापस आकर सीजीपीएससी की तैयारियों में जुट गए। वर्ष 2003 के सीजीपीएससी में इन्होंने पहली बार परीक्षा दिया और इंटरव्यू तक का सफर तय किया लेकिन इनका चयन नही हुआ। इसी वर्ष इनका चयन एमपी पीएससी में हुआ, यूपीएससी का भी परीक्षा दिया और एसएससी के परीक्षा में इनका चयन मिनिस्ट्री ऑफ रोड ट्रांसपोर्ट एंड हाइवे (भारत सरकार) में इनका चयन असिस्टेंट ग्रेड के पद पर हुआ। जहा इन्होंने वर्ष 2005 से 2008 तक अपनी सेवाएं दी। इन्होंने हार नही मानी और सीजी पीएससी की तैयारी जारी रखी, इनकी मेहनत रंग लाई और वर्ष 2005 के सीजी पीएससी में इनका चयन डिप्टी कलेक्टर के पद पर हुआ।

वर्ष 2008 में ज्वाइनिंग करने के बाद इन्हे पहली पोस्टिंग दंतेवाड़ा जिला में मिली, जहा इन्होंने एसडीएम सुकमा के पद पर अपनी सेवाएं दी। वर्ष 2011 में इनका तबादला मंत्रालय में आधार कार्ड परियोजना में हुई, जहा इन्होंने एक साल तक अपनी सेवाएं दी। वर्ष 2013 से 2018 यह राजनांदगांव जिले में पदस्थ रहे, इस दौरान यह डोंगरगढ़, डोंगरगांव, मोहला एसडीएम के पद पर अपनी सेवाएं दी। वर्ष 2018 में इन्हे जिला पंचायत सीईओ, मुंगेली की जिम्मेदारी मिली, जहा इन्होंने दो साल तक अपनी सेवाएं दी। वर्ष 2020 में इन्हे जिला पंचायत सीईओ, बालोद की जिम्मेदारी सौंपी गई, जहा इन्होंने एक साल अपनी सेवाएं दी। वर्ष 2021 में इन्हे जिला पंचायत सीईओ, राजनांदगांव की जिम्मेदारी सौंपी गई, जहा इन्होंने एक साल तक अपनी सेवाएं दी। जुलाई 2022 में इन्हे वीवीआईपी जिला दुर्ग के नगर पालिक निगम भिलाई के आयुक्त पद की अहम जिम्मेदारी सौपी गई, जिसे यह जिम्मेदारी के साथ निभा रहे है।

आयुक्त लोकेश चंद्राकर को विधानसभा चुनाव सफलता पूर्वक सम्पन्न करने और जिला पंचायत मुंगेली रहते हुए मनरेगा में बेहतर कार्य के लिए भारत सरकार द्वारा पुरस्कृत किया जा चुका है।

स्वामी विवेकानंद को अपना आदर्श मानने वाले और किताब पढ़ने, खेल और फिल्म देखने में विशेष रुचि रखने वाले आयुक्त लोकेश चंद्राकर ने कार्य करने के उद्देश्य को लेकर बताया कि पहले पुरानी योजनाओं को ठीक कर पहले से उपलब्ध संसाधनों का बेहतर उपयोग करे। नया करने से पहले पुरानी योजनाओं को ठीक करे ताकि आम जनता के भूलभुत सुविधाओ का लाभ मिल सके। शासन की योजनाओं का लाभ ज्यादा से ज्यादा आम जनता तक पहुंचे, इस पर ज्यादा फोकस करता हूं, स्वयं क्षेत्र में जाकर लोगो से मिलकर उनकी समस्या देखता हूं और जल्द से जल्द उसको हल करने की पूरी कोशिश करता हूं।

भिलाईवाशियो से यही अपील करता हूं की अपने शहर को स्वच्छ और सुंदर बनाने में शासन का सहयोग करे, शासन के योजनाओं का पूरा लाभ ले, अपनी जिम्मेदारी का निर्वहन पूरी ईमानदारी से करें। समाज हित में कार्य करके एक जिम्मेदार नागरिक होने का फर्ज अदा करें।

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